दिवाली का त्यौहार हिंदूओं के प्रमुख त्यौहारों में से एक है। यह त्यौहार खुशियों का एक ऐसा पर्व है, जिसे पूरे भारतवर्ष मेंहर्षोउल्लास के साथ मनाया जाता है।
कार्तिक महीने के कृष्ण पक्ष की अमावस्या कोदिवाली मनाई जातीहै। हिन्दू, मुस्लिम, सिख, ईसाई सभी यहत्यौहार समान उत्साह के साथ मनाते है।
दिवाली का ये त्यौहार कुल 5 दिनों तक मनाया जाता है, जिसकी शुरुआत धनतेरस से होती है और समापन भाई दूज को होता है।
दिवाली हिन्दूओं के सभी त्यौहारों में से एक मात्र ऐसा त्यौहार है,जिस दिन लक्ष्मीजी धरती पर आती है। दिवाली के एकमहीने या 15 दिन पहले हीलोग अपने घरों की साफ़-सफाई में जुट जाते है। इसके साथ ही अपने घर के रंग-रोगन और सजावट पर भी इस दौरान विशेष ध्यान देते है।
दिवाली पर क्या नहीं करना चाहिए ?
- दिवाली के दिनों में व्यक्ति को देर तक नहीं सोना चाहिए। जो लोग इन दिनों में सूर्योदय के बाद तक सोते रहते है, उनको माँ लक्ष्मी की कृपा प्राप्त नहीं होती है।
- दीपावली पर इस बात का विशेष ध्यान रखें कि किसी भी परिस्थिति में आप अपने माता-पिता तथा बुजुर्गों का अपमान ना करें। जो लोग माता-पिता का अनादर करते हैं, उनके यहाँ देवी-देवताओं की कृपा नहीं होती है और दरिद्रता बनी रहती है।
- दीपावली पर किसी को धोखा ना दें,किसी से झूठ ना बोलें और सभी से प्रेम पूर्वक व्यवहार करें।
- दिवाली पर गंदगी नहीं करनी चाहिए और घर का कोना-कोना एकदम साफ और स्वच्छ होना चाहिए। जिस घर में गंदगी होती है, वहाँ माँ लक्ष्मी का निवास नहीं होता है।
- दीपावली के दिनों में व्यक्ति को अधिक क्रोध नहीं करना चाहिए और जोर से चिल्लाना भी अशुभ माना जाता है। जो लोग इन दिनों क्रोध करते हैं या जोर से चिल्लाते हैं, उन परमाता लक्ष्मी की कृपा नहीं होती है।
- व्यक्ति को शाम के वक्त नहीं सोना चाहिए। यदि कोई व्यक्ति बीमार है, वृद्ध है या कोई स्त्री गर्भवती है तो वह दिन में या शाम के वक्त सो सकती हैं,लेकिन स्वस्थ व्यक्ति को शाम को नहीं सोना चाहिए। शास्त्रों के अनुसार जो लोग इस समय सोते हैं, वो निर्धन बने रहते हैं।
- शास्त्रों के अनुसार इन दिनों में किसी भी प्रकार का नशा करना वर्जित माना गया है। जो लोग दीपावली के दिन नशा करते हैं, वे हमेशा दरिद्र बने रहते हैं। नशे की हालत में घर की शांति भंग होती है और सभी सदस्यों को मानसिक तनाव का सामना करना पड़ता है, साथ ही इससे वाद-विवाद भी हो सकता हैं और लक्ष्मी पूजा भी ठीक से नहीं हो पाती है।